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‘रेडियोवाला’ से ‘रेविटवाला’ बन गया डॉन रवि पुजारा का साथी

मुंबई : रवि पुजारी के जिस साथी ओबेद रेडियोवाला को पिछले सप्ताह अमेरिका से भारत डिपोर्ट किया गया, वह उसका मूल नाम है, पर करीब 21 साल पहले वह रेविटवाला नाम के पासपोर्ट से अमेरिका भागा था। ओबेद ने जांच अधिकारियों को पासपोर्ट से जुड़ी कुछ सनसनीखेज जानकारियां दीं। क्राइम ब्रांच के एक अधिकारी के अनुसार, ओबेद ने अपने मूल नाम से अपना असली पासपोर्ट बनवाया था लेकिन इस पासपोर्ट पर उसे अमेरिका का वीजा ही नहीं मिल रहा था।

बाद में ओबेद के किसी एजेंट ने बताया कि रेविटवाला नाम से बने एक पासपोर्ट धारक को अमेरिका का कई बार वीजा मिल चुका है। इसलिए वह रेविटवाला पासपोर्ट से अमेरिका चला जाए। इसके बाद ओबेद रेडियोवाला ने रेविटवाला नाम के पासपोर्ट पर अपना फोटो चिपकाया और वीजा के लिए अप्लाई कर दिया। उसे कुछ दिनों के अंदर अमेरिकी वीजा मिल गया और वह अप्रैल 1998 में रेडियोवाला होकर भी रेविटवाला नाम से भाग गया। उन दिनों पासपोर्ट में इतने सुरक्षा मानक नहीं थे कि फोटो और नाम अलग-अलग होकर भी यात्रा करने वाले को फ्लाइट में बैठने से पहले पकड़ा जा सके।

ओबेद रेडियोवाला ने जांच अधिकारियों को बताया कि उसके पिता ने किसी एजेंट के जरिए उसका रेविटवाला नाम से वीजा बनवाया था। उसके पिता की मौत हो चुकी है, इसलिए क्राइम ब्रांच के एक अधिकारी के अनुसार, मृत पिता के नाम बिल फाड़कर हो सकता है ओबेद असल आरोपियों को बचा रहा हो। डीसीपी दिलीप सावंत से इस बारे में पूछा, तो उन्होंने बस इतना ही कहा कि जांच चल रही है।

क्राइम ब्रांच सूत्रों का कहना है कि हमने जिस महेश भट्ट केस में उसकी कस्टडी ली है और बाद में अली मोरानी केस में उसकी हिरातस लेंगे, उस केस में चरणजीत सिंह उर्फ सुनील रनियाल उर्फ बिट्टू नामक एक आरोपी भी वॉन्टेड है। वह अभी भी अमेरिका में है। ओबेद ने बताया कि बिट्टू ने उससे रवि पुजारी से संपर्क कर अली मोरानी और शाहरुख खान को फोन करवाकर उन पर दबाव डलवाने को कहा था, ताकि उसे फिल्म हैपी न्यू इयर के ओवरसीज राइट्स मिल सकें।

ओबेद ने मुंबई क्राइम ब्रांच अधिकारियों को यह भी बताया कि बिट्टू पहले अबू सलेम के लिए काम करता था। एक अधिकारी के अनुसार, ओबेद के पास रवि पुजारी के कई संपर्क नंबर थे। उसे पुजारी के सेनेगल का ठिकाना भी पता था। रवि पुजारी 22 जनवरी को सेनेगल में ही गिरफ्तार हुआ था। यदि वह तब गिरफ्तार नहीं हो पाता, तब अब वह ओबेद से मिली जानकारी के बाद पकड़ लिया जाता। ओबेद ने बताया कि 1998 में मुंबई से भागने के बाद उसने न्यूयॉर्क में 99 सेंट डिपो मॉल में काम किया। बाद में वह होल सेल में ब्यूटी प्रोडेक्ट बेचा करता था।

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