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विधायकों ने मांगी 4 हफ्ते की मोहलत, येदियुरप्पा की शपथ के बाद लौटेंगे

मुंबई/बेंगलुरु : कर्नाटक में एचडी कुमारस्वामी की सरकार गिरने के बावजूद अभी कांग्रेस-जेडीएस के 15 बागी विधायक बेंगलुरु नहीं लौटेंगे। राज्य में चल रही सियासी रस्साकशी के बीच ये विधायक इस्तीफा देने के बाद मुंबई के होटल में रुके हैं। विधायकों ने कर्नाटक विधानसभा से अयोग्य ठहराने की मांग वाली अर्जी के संबंध में राज्य विधानसभा अध्यक्ष के आर रमेश कुमार के समक्ष पेश होने के लिए चार सप्ताह का समय मांगा है। हुनसुर से जेडीएस के विधायक ए एच विश्वनाथ बताया, ‘हां, हमने विधानसभाध्यक्ष से चार सप्ताह का समय मांगा है। हमने विधानसभाध्यक्ष से अपने अधिवक्ता के माध्यम से संपर्क किया है।’ बागी विधायकों ने अपने पत्र में कहा है कि पार्टी की ओर से संविधान की दसवीं अनुसूची के तहत दायर अर्जी में उन्हें अयोग्य ठहराने की मांग की गई है। इन विधायकों में से 13 विधायक मुंबई के होटल में ठहरे हुए हैं।  उन्होंने कहा कि उन्हें अर्जी की प्रति या उससे संबंधित दस्तावेज नहीं मिले हैं। विधायकों ने कहा कि उन्हें पता चला है कि उन्हें बुधवार तक पेश होने के लिए कहा गया है। बागी विधायकों ने स्पीकर रमेश कुमार को याद दिलाया कि उन्हें पक्ष रखने के लिए कम से कम सात दिन का समय दिया जाना चाहिए। विधायकों ने बालचंद्र एल जरकीहोली बनाम बी एस येदियुरप्पा के 2011 के मामले का हवाला देते हुए स्पीकर से उन्हें चार सप्ताह का समय देने का अनुरोध किया।
मंगलवार शाम कर्नाटक में 14 महीने पुरानी एचडी कुमारस्वामी सरकार विधानसभा में बहुमत साबित करने में नाकाम रही। विश्वास मत प्रस्ताव पर वोटिंग में सत्ता पक्ष को महज 99 वोट मिले, जबकि बीजेपी के पक्ष में 105 वोट पड़े। सदन में उस समय कुल 204 विधायक मौजूद थे। विश्वास मत में जीत के बाद बीजेपी के विधायक विक्ट्री साइन दिखाते नजर आए। उधर, कांग्रेस और जेडीएस के खेमे में मायूसी दिखी।
दरअसल, कार्यवाही में 20 विधायकों ने हिस्सा नहीं लिया जिससे सदन की संख्या घटकर 204 रह गई। मंगलवार शाम जिस वक्त विश्वास मत पर वोटिंग हो रही थी, उस समय कांग्रेस-जेडीएस के 17, बीएसपी के एक और 2 निर्दलीय विधायक सदन में नहीं आए। इस तरह गठबंधन सरकार 103 का जादुई आंकड़ा नहीं जुटा सकी।
विश्वास मत प्रस्ताव में सरकार गिरने के बाद एचडी कुमारस्वामी ने पद से इस्तीफा दे दिया है। उनके इस्तीफे को गवर्नर ने स्वीकार भी कर लिया है। जल्द ही सूबे के गवर्नर वजुभाई वाला बीजेपी के नेता बीएस येदियुरप्पा को सरकार गठन का न्योता दे सकते हैं।
इससे पहले स्पीकर रमेश कुमार ने विधायकों को खड़ाकर सत्ता और विपक्ष के नंबरों की गिनती की। स्पीकर ने विधानसभा में हर पंक्ति को अलग-अलग खड़ा कर अधिकारियों से विधायकों की गिनती कराई। संभवत: ऐसा पहली बार हुआ है कि जब सदन में विधायकों की गिनती फिजिकली की गई है।

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