मुंबई
प्रसिद्ध गांधीवादी समाजसेवी अन्ना हजारे मोदी सरकार के खिलाफ आगामी 2 अक्टूबर यानी गांधी जयंती से आंदोलन शुरू करेंगे। अन्ना ने घोषणा की है कि उनका आंदोलन उनके गांव रालेगण सिद्धि में ही होगा। उन्होंने अपने समर्थकों से कहा है कि जो इस आंदोलन में शरीक होना चाहते हैं, वह रालेगण सिद्धि ना आकर अपने अपने गांव, जिला, तहसील मुख्यालय पर केंद्र सरकार के खिलाफ आंदोलन शुरू करें।
अन्ना का मोदी सरकार के खिलाफ यह आंदोलन स्वामीनाथन आयोग की सिफारिशें लागू करने, किसानों को उनके उत्पादन का डेढ़ गुना बाजार भाव देने, बुजुर्ग किसानों को पेंशन देने और केंद्र में लोकपाल पर राज्य में लोकायुक्त की नियुक्ति करने और चुनाव प्रक्रिया में सुधार लाने की मांग के साथ शुरू हो रहा है। अन्ना ने कहा कि इन मांगों के बारे में वह कई बार प्रधानमंत्री को चिट्ठी लिख चुके हैं, लेकिन उनकी मांगों को लेकर मोदी सरकार का रवैया सकारात्मक दिखाई नहीं दे रहा, इसलिए वह सरकार के खिलाफ आंदोलन शुरू करने जा रहे हैं।
मोदी सरकार को खत भी लिखा
अन्ना हजारे ने इस बारे में मोदी सरकार को एक पत्र भी लिखा है, जिसमें उन्होंने लिखा है कि पिछली बार जब 23 मार्च को रामलीला मैदान में वह अनशन पर बैठे थे उस समय सरकार ने उन्हें जो लिखित आश्वासन दिए थे, आज तक उन आश्वासनों को पूरा नहीं किया गया। इसी तरह सरकार ने चुनाव के दौरान जनता से जो वादे किए थे, वे भी आज तक पूरे नहीं किए गए। सरकार ने कहा था सत्ता में आते ही और लोकपाल और लोकायुक्त की नियुक्ति करेगी। स्वामीनाथन आयोग की सिफारिशों को लागू करेगी, लेकिन सत्ता मोदी और भाजपा को सत्ता में आए 4 वर्ष गुजर चुके हैं और सरकार अपने वादों को पूरा करने में फेल रही है।
अन्ना ने कहा कि लोकपाल और लोकायुक्त की नियुक्ति देश में भ्रष्टाचार पर लगाम लग सकती है, लेकिन सरकार यह काम नहीं करना चाहती। इसी तरह देश में किसानों को आत्महत्या रोकने के लिए स्वामीनाथन आयोग की सिफारिशों को लागू किया जाना जरूरी है, लेकिन सरकार यह भी नहीं करना चाहती। अन्ना ने अल्टीमेटम दिया है कि अगर सरकार 2 अक्टूबर से पहले अपने दिए हुए वादों पर कोई ठोस फैसला नहीं करती, तो वह सरकार के खिलाफ आंदोलन शुरू करेंगे।
प्रमुख मांगें:
–स्वामीनाथन आयोग की सिफारिशें लागू की जाएं।
–किसानों को उनके उत्पादन का मिले डेढ़ गुना भाव।
–बुजुर्ग किसानों के लिए लागू की जाए पेंशन योजना।
–राज्य में लोकायुक्त की नियुक्ति तथा चुनाव प्रक्रिया सुधरे।