उत्तराखंड के देहरादून में एक स्कूल ने गैंगरेप पीड़िता को एडमिशन देने से इनकार कर दिया. स्कूल ने यह कहकर दाखिला देने से इनकार कर दिया कि वह गैंगरेप की शिकार है. इस बात की शिकायत पीड़ित छात्रा की रिश्तेदार ने एसपी देहात से की है. हालांकि पुलिस ने अब तक स्कूल के खिलाफ कोई कार्रवाई सुनिश्चित नहीं की है.
जानकारी के मुताबिक इस मामले की शिकायत शासन-प्रशासन को भी दी गई है, लेकिन फिलहाल इस मामले पर अभी तक कोई सुनवाई नहीं हुई है. वहीं इस मामले पर पीड़ित परिवार की ओर से मांग की गई है कि ऐसे स्कूलों की मान्यता रद्द हो और साथ ही सख्त कार्रवाई हो.
गौरतलब है कि कुछ दिन पूर्व एक स्कूल में कुछ छात्रों ने एक छात्रा के साथ गैंगरेप की वारदात को अंजाम दिया था. छात्रा के गर्भवती होने की घटना सामने आने के बाद बवाल मच गया था.
इसमें शामिल सभी आरोपी समेत स्कूल प्रबंधन के अधिकारियों और प्रिंसिपल को गिरफ्तार कर जेल भेजने के बाद स्कूल की सीबीएसई द्वारा मान्यता भी रद्द कर दी गई थी, जिसके बाद उसमें पढ़ने वाले सभी छात्र-छात्राएं अन्य स्कूलों में एडमिशन लेने में जुटे हैं.
इसके अलावा रेप पीड़िता भी दाखिला के लिए कोशिश कर रही है. हालांकि कई स्कूलों ने पीड़िता को दाखिला देने से मना कर दिया है. उधर देहरादून के स्कूलों में एडमिशन ना मिलने की वजह से अब पीड़ित छात्रा का एडमिशन परिजनों द्वारा उत्तर प्रदेश में मेरठ के एक स्कूल में करा दिया गया है.
देहरादून के कुछ स्कूलों में पीड़ित छात्रा को एडमिशन ना देने जैसे मामले को लेकर एसएसपी निवेदिता का कहना है कि सीधे तौर पर उनके पास ऐसी कोई शिकायत तो नहीं आई है, लेकिन एसपी देहात सरिता डोबाल के पास जरूर पीड़ित लड़की के परिजन द्वारा इस मामले पर कैंट क्षेत्र स्थित एक स्कूल की शिकायत जरूर आई है, उसकी जांच कराई जा रही है, ताकि आगे की कार्रवाई की जा सके.
गैंगरेप पीड़िता को देहरादून के स्कूल में एडमिशन ना मिलने पर राज्य के मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने सफाई देने के साथ ही अफसोस जताते हुए कहा कि यह धारणा गलत है, बच्ची को एडमिशन मिलना चाहिए. जिस स्कूल द्वारा ऐसा किया गया है उसकी जांच की जाएगी आखिर उसने ऐसा क्यों किया है. मुख्यमंत्री ने मामले पर बचाव करते हुए तकनीकी समस्या को भी कारण बताया है.