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आग से नहीं ‘डरतीं’ यहां की 10 इमारतें

मुंबई
साकीनाका ही नहीं पूरी मुंबई की ‘बारूद के ढेर’ पर बसी हुई है। जनता का इस संदर्भ में उदासीन रवैया मामले की गंभीरता पर विचार करने को मजबूर कर रहा है। दरअसल, पिछले कुछ महीनों में फायर ब्रिगेड द्वारा 4,647 बिल्डिंगों के अग्निशमन यंत्र की जांच की गई। निराशाजनक तौर पर सभी की सभी बिल्डिंगों के यंत्र फेल पाए गए। इसके तुरंत बाद विभाग द्वारा इन्हें नोटिस भेजकर तुरंत व्यवस्था चुस्त करने को कहा गया। जिसके बाद 4,637 बिल्डिंगों ने तो यंत्र दुरुस्त करा लिए लेकिन 10 बिल्डिंगों ने इस दिशा में कदम नहीं उठाए। इन्हीं 10 बिल्डिंगों के खिलाफ कार्रवाई शुरू की गई है। दोषी साबित होने पर इन्हें जेल की हवा भी खानी पड़ सकती है।काम है आपका
महाराष्ट्र अग्नि रोकथाम और जीवन सुरक्षा उपाय नियम के अनुसार, आपको हर 6 महीने में अग्निशमन व्यवस्था की ऑडिट कराकर उसे विभाग के पास जमा करना होता है। लेकिन लोग सालों साल से इस पर कोई ध्यान नहीं देते हैं। सोसायटियों को अधिकृत एजेंसियों से ऑडिट करनी होती है। पूरे महाराष्ट्र में इस तरह के 588 लाइसेंसधारी एजेंसी हैं जिनमें से 240 केवल मुंबई में ही हैं। कुछ महीनों पहले कई बड़े हादसों के बाद फायर ब्रिगेड ने औचक निरीक्षण करने का फैसला किया, जिसमें चौंकाने वाले नतीजे मिले। दरअसल, इस तरह की जांच खुद सोसायटी करनी पड़ती है। फायर ब्रिगेड के एक अधिकारी ने बताया कि लोगों को खुद जागरूक होना होगा। अचानक आग लगने पर सबसे पहली हानि उन्हीं को होगी। हम इस प्रवृत्ति से काफी निराश है। इस दिशा में कोई बड़ा कदम उठाया जाएगा।

लगातार हो रही हैं घटनाएं
कई बड़ी घटनाओं के अलावा लगातार आग की छोटी घटनाएं भी सामने आ रही हैं। मिली जानकारी के अनुसार, इस संदर्भ में 1,634 फोन आए, जिनमें से ज्यादातर आग से जुड़े हुए ही थे। जिनमें कुछ लोगों की जान तक चली गई। अभी हाल में ही साकीनाका में हुए अग्निकांड में 12 लोगों की मौत हो गई थी।

टला बड़ा हादसा
वालकेश्वर के लिजेंड टावर में सोमवार को लगी आग भयावह होने से बच गई, क्योंकि वहां अग्निशमन यंत्र काम कर रहे थे। एक अधिकारी ने बताया कि बिल्डिंग में संयंत्र ठीक थे, इसलिए हम उन्हें नोटिस नहीं भेजेंगे। इस संदर्भ में एक रिपोर्ट तैयार की जा रही है।

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